श्री अयोध्या तो झांकी थी मथुरा और काशी अभी बाकी है...

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मथुरा 29 सितम्बर 2020

काशी विद्वत्परिषद् शाखा ब्रजमंडल के बैनर तले एक बैठक आयोजित की गई। जिसमें सनातन धर्म और मंदिरों पर आक्रांताओं ने बड़े कुठाराघात किए तथा मंदिरों पर कब्जे, सनातन धर्म व संस्कृति तथा मंदिर एवं तीर्थ स्थल आक्रांताओ के चिन्हों से मुक्त कर संरक्षित करने को लेकर चर्चा कर, रणनीति बनाने पर विचार विमर्श किया गया।

महामंडलेश्वर नवल गिरी महाराज ने कहा के हमारे मोदी और योगी दोनों महापुरुष हैं और इन के सानिध्य में हमारा सनातन धर्म सुरक्षित है और हम सबको इन दोनों के हाथ मजबूत करनी चाहिए, मथुरा और काशी पर मुस्लिमों को चर्चा करो आगे आकर मंदिरों वाली कब्जे की जमीन को छोड़ देना चाहिए।

डॉ. मनोज मोहन शास्त्री ने कहा काशी विश्वनाथ और मथुरा कृष्ण जन्म भूमि के लिए भी हम सबको विचार करना चाहिए कि वहां अभी दिव्य भव्य मंदिर का निर्माण हो।

आनंद बल्लभ गोस्वामी ने कहा कि अभी हमारे भारत में मोदी योगी की सरकार है अभी नहीं तो कभी नहीं इसलिए हम सब को जागरूक हो जाना चाहिए।

Vimal Chaitanya Brahmachari जी ने कहा राम जन्म भूमि का स्थापना हुई यह एक शुभारंभ हुआ है आगे सभी मंदिरों का भी संरक्षण होगा।

कार्ष्णि नागेन्द्र महाराज ने कहा, कोर्ट में याचिका दायर की गई है और हम सब धर्म आचार्य संत महात्मा ब्रजबासी का पूरा समर्थन है अब हम सब की यह आवाज है कि काशी विश्वनाथ और कृष्ण जन्मभूमि का मंदिर बीच में भव्य बने काशी और विश्वनाथ मंदिर भवन निर्माण हो इसके लिए आवाज उठ चुकी है।

एक मुहिम चलानी चाहिए जिससे के राम मंदिर की तरह काशी विश्वनाथ मंदिर एवं मथुरा कृष्ण जन्मभूमि मंदिर का भी भव्य निर्माण हो, "अयोध्या तो झांकी थी मथुरा और काशी अभी बाकी है" यह नारा अब चारों तरफ गूँजता दिखाई देगा शीघ्र ही बृज मंडल में भारत के संपूर्ण संतो के साथ बड़ी बैठक आयोजित होगी।

जिसमें काशी और मथुरा के मंदिरों को मुक्त कराने की रणनीति पर चर्चा होगी। इस अवसर पर वृन्दावन के आदित्य शर्मा मनु गौड़ अन्य सन्त, महामण्डलेश्वर और भागवत प्रवक्ता उपस्थित रहे।

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